रुद्रप्रयाग | केदारनाथ यात्रा मार्ग पर लगे कथित शुल्क को लेकर उठा विवाद अब राजनीतिक रंग ले चुका है। कांग्रेस के पूर्व विधायक मनोज रावत द्वारा सोशल मीडिया और मौके पर पहुंचकर सरकार और प्रशासन पर सवाल उठाने के बाद अब केदारनाथ की विधायक आशा नौटियाल ने जवाबी हमला बोला है। उन्होंने विपक्ष पर यात्रा व्यवस्था को “जानबूझकर बाधित करने” का आरोप लगाया है।
विवाद की शुरुआत उस समय हुई जब गौरीकुंड के पास कुछ स्थानीय व्यापारियों ने एक भाजपा नेता पर पैसे लेने का आरोप लगाया। इसके बाद पूर्व विधायक मनोज रावत मौके पर पहुंचे और सरकार, प्रशासन के साथ भाजपा नेता को भी निशाने पर ले लिया। उन्होंने इसे व्यापारियों के शोषण का मामला बताते हुए सोशल मीडिया के जरिए प्रशासनिक कार्यप्रणाली पर सवाल उठाए।
जांच में बदली तस्वीर
जिला प्रशासन द्वारा मामले की जांच के बाद सामने आया कि व्यापारियों ने खुद ही ‘केदारघाटी श्रद्धालु सेवा समिति’ का गठन किया है, जिसमें शामिल सदस्य प्रशासन की टेंडर प्रक्रिया से बाहर रह गए थे। समिति के पंजीकरण और संचालन के खर्चों के लिए सभी सदस्यों से ₹2000 का अंशदान लिया गया। समिति अध्यक्ष संदीप पुष्पवान ने स्पष्ट किया कि यह धनराशि यात्रा सेल को पूर्व सूचना के तहत दी गई थी और कोई जबरन वसूली नहीं हो रही है।
विपक्ष यात्रा को बना रहा राजनीतिक मुद्दा: विधायक आशा नौटियाल
विधायक आशा नौटियाल ने सोशल मीडिया पर बयान जारी कर कहा कि “विपक्ष को केदारनाथ यात्रा में श्रद्धालुओं को मिल रही बेहतर सुविधाएं हज़म नहीं हो रही हैं। इसलिए कुछ व्यापारियों को मोहरा बनाकर माहौल बिगाड़ने की कोशिश की जा रही है।” उन्होंने यह भी कहा कि “यदि पूर्व विधायक मनोज रावत आरोप लगा रहे हैं, तो संबंधित भाजपा नेता का नाम भी सार्वजनिक करें।”
उन्होंने आगे कहा कि “एक तरफ शासन और प्रशासन श्रद्धालुओं को बेहतरीन अनुभव देने में जुटा है, दूसरी तरफ विपक्ष राजनीतिक लाभ के लिए यात्रियों और व्यापारियों को गुमराह कर रहा है।” उन्होंने स्थानीय लोगों से भी अपील की कि वे यात्रा से जुड़ी आर्थिक संभावनाओं और रोजगार अवसरों को समझें और नकारात्मक राजनीति का हिस्सा न बनें।
समाप्ति में
जहां एक ओर केदारनाथ यात्रा को सुरक्षित, सुगम और स्वच्छ बनाने के लिए सरकार और प्रशासन जुटे हैं, वहीं इस तरह की राजनीतिक खींचतान यात्रा की गरिमा और श्रद्धालुओं की भावनाओं को प्रभावित कर सकती है। इस मामले में सभी पक्षों से संतुलित और संयमित व्यवहार की अपेक्षा की जा रही है।