उत्तराखंड: प्यार के लिए तोड़ी मजहब की दीवार, महक से शिवानी बनी युवती ने प्रेमी के साथ कानूनी रूप से रचाई शादी
मोहब्बत का कोई मजहब नहीं होता, प्यार के खातिर लोग मजहब की दीवारें तोड़ अपने साथी को पाने की हर कोशिश करते हैं. ऐसा ही एक मामला उत्तराखंड के खटीमा में देखने को मिला है. यहाँ शिवम को पाने के लिए महक मजहब की दीवार तोड़कर शिवानी बन गई. लंबी जद्दोजहद के बाद 12 जुलाई को विशेष विवाह अधिकारी के समक्ष महक व शिवम की मोहब्बत को कानूनी जामा पहना दिया गया और अब दोनों पति-पत्नी के रूप में साथ रह रहे हैं. शिवम वार्ड नंबर एक सब्जी मंडी में रहता है. उसकी सब्जी की दुकान है. महक का परिवार इस्लाम नगर में रहता है. छोटे से शहर में आसपास रहते हुए शिवम व महक की दोस्ती प्यार में बदल गई. कुछ वक्त के बाद दोनों ने जिंदगी साथ निभाने का निर्णय कर लिया. इस पर शिवम के स्वजन तो मान गए पर महक के घर वाले नहीं माने.
उसे मजहब का वास्ता दिया गया, खानदान की रवायत समझाई गई. इसके बावजूद महक नहीं मानी. परिवार वालों ने उसकी उसकी जिद को तोड़ने के लिए दूसरे तौर-तरीके इस्तेमाल करने शुरू कर दिए. ऐसे में ढाई महीने पहले वह शिवम के साथ घर से भाग गई और दोनों इधर-उधर भटकते रहे. अब कहानी में सब कुछ फिल्मी जैसा था. जोड़े की तलाश, मिल जाएं तो दोनों को किसी तरह अलग कर देने के खतरनाक इरादे. इन इरादों को भांपकर दोनों हाई कोर्ट की शरण में चले गए. हाई कोर्ट में दोनों को सुरक्षा उपलब्ध करवाने के निर्देश दिए. हाई कोर्ट से सुरक्षा के निर्देश मिलने के बाद दोनों खटीमा लौट आए और विशेष विवाह अधिकारी/एसडीएम की अदालत में विवाह की अर्जी लगाई. जरूरी कानूनी प्रक्रियाओं के पूरा होने पर बुधवार को दोनों कानूनी रूप से विवाह के बंधन में बंध गए. विवाह के बाद महक ने हिंदू नाम शिवानी कर लिया है.